इसी तरह इंदिरा गाँधी स्वर्ण कप जीतने वाली टीम की सदस्य विश्वासी पूर्ति की रुचि बचपन से ही खेलों के लिए थी. खस्सी टूर्नामेंट देखने जाने वाली पूर्ति कहती हैं, “उस वक़्त बस एक ही बात दिमाग़ में आती थी कि टूर्नामेंट जीतने पर एक दिन तो भरपेट खस्सी-भात खाने को मिलेगा.” http://webcache.googleusercontent.com/search?q=cache:CRULXG1wVWgJ:www.bbc.co.uk/hindi/sport/story/2004/06/040611_jharkhand_hockey.shtml+%E0%A4%AC%E0%A4%95%E0%A4%B0%E0%A5%87+%E0%A4%96%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%B8%E0%A5%80&cd=7&hl=en&ct=clnk&gl=in
जानकारी शेयर करने के लिए ध्ान्यवाद!!
ReplyDeleteवाह ! जहाँ चाह वहाँ राह ।
ReplyDeleteजानकारी के लिए धन्यवाद!
ReplyDeleteवाह..
ReplyDeleteबढ़िया.... इसी की तलाश में था |
ReplyDeleteआपकी इस पोस्ट की चर्चा "टेक-वार्ता" पर की गयी है |
ReplyDeletehttp://hinditechvarta.blogspot.com/2010/07/blog-post.html
इसी तरह इंदिरा गाँधी स्वर्ण कप जीतने वाली टीम की सदस्य विश्वासी पूर्ति की रुचि बचपन से ही खेलों के लिए थी. खस्सी टूर्नामेंट देखने जाने वाली पूर्ति कहती हैं, “उस वक़्त बस एक ही बात दिमाग़ में आती थी कि टूर्नामेंट जीतने पर एक दिन तो भरपेट खस्सी-भात खाने को मिलेगा.” http://webcache.googleusercontent.com/search?q=cache:CRULXG1wVWgJ:www.bbc.co.uk/hindi/sport/story/2004/06/040611_jharkhand_hockey.shtml+%E0%A4%AC%E0%A4%95%E0%A4%B0%E0%A5%87+%E0%A4%96%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%B8%E0%A5%80&cd=7&hl=en&ct=clnk&gl=in
ReplyDeleteवाह्! बढिया जानकारी...
ReplyDeleteआभार्!
THANKS A LOT...GOOD POST...INFORMATIVE...
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